
एक गांव में दो किसान भाई रहते थे और दोनों के एक एक लड़के थे । एक का नाम राम था और दूसरे का नाम धनु था । राम और धनु एक साथ एक ही स्कूल में पढ़ाई किया करते थे । दोनों में बहुत गहरी दोस्ती थी । इसलिए दोनों एक साथ रहना , घूमना और एक साथ ही खेला करते थे ।
इन दोनों की ऐसी दोस्ती देख कर इन दोनों के माता पिता बहुत खुश थे । लेकिन इन दोनों के उमर के लड़के दोनों के दोस्ती से बहुत जलते रहते थे । इसलिए कभी कभी बाकी दूसरे लड़कों में झगड़ा होती रहती थी । ये दोनों एक दूसरे के लिए किसी से भी लड़ाई कर लेते थे ।

गलत फहमी से दोस्ती दुश्मनी में बदल जाती है ।
एक बार राम के घर धनु खेलने के लिए आया था । तभी धनु के पिता खेत में डालने के लिए जो दवा लाए थे । वह बिल्ली के पैर से लग कर राम के पिता के खाने में गिर गया था। राम के पिता अनजाने में उस भोजन को खा लिए और इस वजह से उनकी मृत्यु हो गई । उस वक्त धनु वही पर था ।
राम उसी वजह से धनु को अपने पिता का कातिल समझने लगा । धनु जहां राम का जिगरी दोस्त था । वहीं राम अब धनु को अपना सबसे बड़ा दुश्मन समझने लगा । उस दिन से राम , धनु के साथ अपने पिता के मौत का बदला लेने को ठान लिया और समय का इंतजार करने लगा ।
गलती कर देने के बाद अपने गलतियों का एहसास होता हैं ।
धनु कई बार राम से अपनी सफाई दी कि बिल्ली के कारण हुआ । लेकिन धनु उसके बात पर बिस्वास नहीं किया । धीरे धीरे दोनों बड़े हुए लेकिन राम के मन में बदले की भावना खत्म नहीं हुई । वो मौके की तलाश में था और एक दिन वो मौका आ भी गया । एक दिन धनु के पिता को राम सास्ते में ही गाड़ी से एक्सीडेंट कर के मारना चाहा ।
लेकिन धनु के पिता बच गए और राम ही बहुत बुरी तरह से घायल हो गया था । जब धनु को मालूम हुआ कि राम का एक्सीडेंट हुआ है । तब धनु ही उसे हॉस्पिटल में ले जाकर इलाज करवाया । ये देख कर राम बहुत शर्मिंदा हुआ और धनु से माफी मांगे कि हम अनजाने में बदले के भावना में बह गया था ।